गाजियाबाद के नर्सिंग होम,हॉस्पिटलों,स्कूलों व कोचिंग सेंटरों को अगिन शमन विभाग से अनापत्ति प्रमाणपत्र केंद्रों के बेसमेंट की जाँच करने के लिए उजागर फाऊंडेशन ने जिलाधिकारी व मुख्य विकास अधिकारी को पत्र दिया


जिलाधिकारी के नाम संबोधित पत्र मे उजागर फाऊंडेशन की अध्यक्ष शिवानी जेन व महासचिव सचिन सोनी ने जिला अधिकारी को अवगत कराया कि गुजरात के राजकोट गेमिंग सेंटर व दिल्ली अशोक विहार के बेबी केयर सेंटर संचालकों व विभागों की लापरवाही ने अनेकों घरों की खुशियां लूट ली है।
यदि इन केंद्रों पर विभागीय स्तर से होने वाली जाँच में कौताही न बर्ती जाती तो शायद इन दुर्घटनाओं को टाला या कम किया जा सकता था।
जो हो गया उसे बदला नही जा सकता लेकिन इन ह्रदय विदारक घटनाओं से सबक लेकर भविष्य में इस तरह की घटनाओं की पुनरावर्त्ति को रोका जा सकता है।
पत्र मे बताया गया कि गाजियाबाद मे भी अनेकों स्कूल,कोचिंग सेंटर,नर्सिंग होम व हॉस्पिटल नियमो को ताक पर रख कर चल रहे है।हॉस्पिटलों के बेसमेंट को मरीजों व स्कूलों के बेस्मेंट को बच्चों की क्रिया (कक्षा संचालन,लेब,ऑडिटोरियम) के उपयोग में लाया जा रहा है।अनेकों ही स्कूल,कोचिंग सेंटर,नर्सिंग होम व हॉस्पिटल ऐसे होंगे जिन्होंने की अगिन शमन विभाग से अनापत्ति प्रमाणपत्र प्राप्त नही किया हे ओर जिन्होंने प्राप्त किया है उनकी समयावधि समाप्त हो गयी होंगी किन्तु ना विभागो ने ओर ना ही इन संस्थाओ के संचालकों ने इनकी महत्वत्ता को समझा है,भूमि आवनटन करने वाली कार्यदायी संस्थाओ से बिना कम्प्लीशन सर्टिफीकेट प्राप्त किए संचालन किया जा रहा है
पत्र के माध्यम से जिला अधिकारी व मुख्य विकास से जनपद में संचालित सभी स्कूलों,कोचिंग सेंटरों, नर्सिंग होमो व हॉस्पिटलों के स्वीकृत मानचित्र मौके पर हुए निर्माण,अगिन शमन विभाग से मिलने वाली एनओसी तथा मान्यता नवीनीकरण का जाँच कराए जाने व खामी पाए जाने पर निमानुसार कार्यवाही करने का अनुरोध किया गया तथा साथ ही स्कूल,कोचिंग,नर्सिंगहोम व हॉस्पिटलों को विभागीय स्तर से जारी होने वाली एन.ओ.सी व स्वीकृति मानचित्र को वेबसाईट पर लिखवाए जाना अनिवार्य किए जाने का सुझाव भी दिया।